Friday, September 25, 2015

बिछड़ तोसे जिया नहीं जाए

बदरा छाए, नैनो में बदरा छाए
आज पीह से मिलन की आस में
नैनो में बदरा छाए, बदरा छाए
आज फिर मिलन की आस में

कहें तोसे कैसे पिया
कहाँ कहाँ ढूंढे तुझे जिया, ढूंढे जिया.........

कहूँ कैसे, थामूँ कैसे, रोकूँ कैसे
नीर जो बरसे नैनो से, नैनो से नीर जो बरसे
बदरा छाए तोसे मिलन की आस में
नैना नीर बहाए तोहे देखन की आस में

बदरा छाए, नैनो से नीर बहाए
जिया नहीं जाए पिया
बिछड़ तोसे जिया नहीं जाए
क्यों दूर तू जाए मोसे क्यों दूर तू जाए       .......................................................पियाा 

No comments: